Monday, January 28, 2019

#Books: PM Modi and his book Exam Warriors


You must have heard about a book for children written by our PM Narendra Modi. It is named "Exam Warriors". You can check about it on Penguin's website  and it is also being sold on e-commerce websites like Amazon and Flipkart. And lately it is also being sold by NaMo Merchandise website

It is really amazing to see how India's Prime Minister cares about our children and young students. I had never imagined that a Prime Minister would think of such a matter which is considered mundane and yet, is very important. Yet, a Prime Minister should care about such a matter of examination related stress, still bewilders me... 

Then I remind myself of the first time Narendra Modi went to Lal Quila for flag hoisting. In his speech, he talked about need for sanitation and launched Swachh Bharat Abhiyan, a cleanliness drive. Similarly, one of his pet projects is to provide cooking gas to poor women. Looking at his initiatives, it is clear where his ideas are coming from. He is a man on the ground and he thinks for the welfare of the poor and downtrodden and from there, his thinking is taking shape into policies and initiatives.

I am really proud of having such a Prime Minister who cares about such matters related to the life of Indians. Kudos Modi ji.

- Rahul Tiwary

Thursday, January 17, 2019

#Pictures: Crow Inside the Glass


This crow sitting outside the building is looking at its own reflection and shouting for a long time at the 'crow' inside the glass. 

- Rahul Tiwary | Place: Pune

Sunday, January 13, 2019

Books: शरत चंद्र चटोपाध्याय के उपन्यास

पथ के दावेदार 

"पथ के दावेदार" शरत चंद्र चटोपाध्याय की एक उच्च कोटि की रचना है जो उन्होंने स्वतंत्रता सेनानियों के ऊपर लिखी थी। इन सब के बीच ये एक विचित्र प्रेम कहानी भी है - अपूर्व और भारती की। इस कहानी का नायक सही मायने में  सव्यसाची, जिसे सब डॉक्टर पुकारते थे, ही माना जाना चाहिए। अपूर्व भी नायक है पर शायद उन थोड़े नायकों में से एक है जो "दोषरहित" नहीं है। एक पढ़े लिखे धनाढ्य वर्ग के पर अपनी ही चुनौतियों से जूझता उसका एक विचित्र किरदार है।

कहानी में एक रोचक बात ये है कि भारती जो कि क्रिस्तान हो गई थी (अपने माँ के पुनर्विवाह हेतु किये धर्म परिवर्तन के कारण), उसका ब्रिटिश और यूरोपियों के लिए सहानुभूति रखना। इसी कारण बहुत से लोग ईसाई मिशनरियों को यूरोपी साम्राज्यवाद को छद्म रूप से बढ़ाने का माध्यम ही मानते हैं। इस बात को कहानी के कई मोड़ों पर देखा जा सकता है।

ये कहानी इस लिए भी रोचक है क्योंकि इसका अंत पूर्ण नहीं होता - पाठक सोचते रह सकते हैं कि अपूर्व और भारती की शादी हुई होगी या नहीं।

कुल मिलकर "पथ के दावेदार" आजादी की लड़ाई, साम्यवाद (कम्युनिज्म) की विचारधारा, युरोपियन उपनिवेशवाद, ईसाई मिशनरियों के काम इत्यादि पर रोचक टिपण्णी करती है और शरत चंद्र चटोपाध्याय की एक उच्च कोटि की रचना है।

- राहुल तिवारी

Saturday, January 12, 2019

#Pictures: दो बालक घुड़सवार


दो बालक-घुड़सवार सुबह-सुबह कहीं चले जा रहे थे। साथ चल रहा था उनका सफेद पालतू कुत्ता। अचानक एक जगह घोड़ों को रोक कर ठहर जाने पर कुत्ता पीछे मुड़ कर देख रहा था और सोच रहा था कि "यहाँ क्यों रुक गए - अब आगे क्या?"

- राहुल | स्थान - पुणे